कोरबा। जिले के देवपहरी जलप्रपात में शुक्रवार को बड़ा हादसा हो गया। यहां पानी को पार करते समय टीचर और उसके साथी बीच में फंस गए। मगर उसी दौरान तेज बहाव आया, जिसमें टीचर बह गया, वहीं उसके 2 साथियों को किसी तरह बचा लिया गया। मामला लेमरू थाना क्षेत्र का है।
इधर, घटना के 8 घंटे बीत जाने के बाद भी टीचर का कोई सुराग नहीं मिल सका है। रेस्क्यू टीम शुक्रवार शाम तक उसकी तलाश करती रही, लेकिन उसका कुछ पता नहीं चला। रात होने के कारण रेस्क्यू बंद कर दिया गया। शनिवार को फिर से रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू किया गया।
जांजगीर से पिकनिक मनाने पहुंचे थे
जांजगीर-चांपा जिले के अकलतरा के रहने वाले, आयुष जैन (25), लक्ष्मीकांत शर्मा (45) और सत्यजीत राहा (55) पिकनिक मनाने के लिए देवपहरी जलप्रपात पहुंचे थे। इनमें से सत्यजीत राहा अकलतरा में किसी स्कूल में शिक्षक थे। यहां पहुंचने पर तीनों ने खाना खाया, फिर तीनों ने प्लान बनाया कि पानी को पार कर वे वाटरफॉल के बीच में बने वॉच टावर में जाकर बैठेंगे।
दोपहर के करीब 12 बजे तीनों ने पानी को पार करना शुरू किया, लेकिन उसी समय पानी का बहाव तेज हो गया और तीनों बीच में ही फंस गए। तीनों किसी तरह से वहां से निकलना चाहते थे। मगर ऐसा हुआ नहीं। उसी दौरान तेज बहाव में सत्यजीत राहा बह गया, जबकि आयुष और लक्ष्मीकांत वहां पानी में ही पत्थर के सहारे खड़े रहे।
अपने साथी को बहता हुआ देख उन्होंने उसे बचाने की कोशिश भी की, लेकिन उसे बचा नहीं सके। इसके बाद उन्होंने चिल्लाना शुरू किया। जिसके बाद आस-पास के लोग मौके पर पहुंचे। उन्होंने तुरंत इस बात की सूचना प्रशासन को दी। पुलिस को भी दी गई। फिर नगर सैनिक मौके पर पहुंचे और दोनों का रेस्क्यू किया। उधर, टीचर की तलाश भी गोताखोरों ने शुरू कर दी, लेकिन शाम तक उसका कुछ पता नहीं चला है, वहीं पुलिस ने शिक्षक के परिजनों को इस बात की खबर दी। जिसके बाद से वे मौके पर पहुंच गए।
एसडीआरएफ की टीम को बुलाया गया
बताया जा रहा है कि अब शनिवार को बिलासपुर से एसडीआरएफ की टीम कोरबा पहुंचेगी, जो टीचर की तलाश करेगी। बारिश के दिनों में इस वाटरफॉल में आना जाना प्रतिबंधित होता है। इसके बावजूद लोग यहां पहुंच रहे हैं। हैरानी की बात है कि यहां प्रतिबंध तो लगा दिया गया है। मगर किसी को यहां तैनात नहीं किया गया है।