नई दिल्ली। भारत ने कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपनी आवाज बुलंद कर दी है, जिसमें 26 निर्दोषों की हत्या हुई थी। डीएमके सांसद कनिमोझी के नेतृत्व में भारतीय प्रतिनिधिमंडल ने रूस की राजधानी मॉस्को में दुनिया के सामने भारत की पीड़ा और आतंक के खिलाफ रुख को स्पष्ट किया।
आतंकवाद के खिलाफ एकजुट होने का आह्वान
कनिमोझी ने रूस से समर्थन की अपील करते हुए कहा कि यह समय चुप रहने का नहीं, बल्कि दुनिया को आतंक के खिलाफ एकजुट होने का है। उन्होंने कहा कि भारत ने हमेशा शांति की कोशिश की, लेकिन पाकिस्तान के रवैये ने हालात बिगाड़ दिए। अब वक्त है कि दुनिया भारत की पीड़ा को समझे और आतंकवाद के खिलाफ एकजुट हो ।
रूसी संसद का समर्थन
रूस की ड्यूमा समिति के प्रमुख लियोनिद स्लटस्की ने पहलगाम हमले की निंदा करते हुए भारत के साथ संवेदना जताई। उन्होंने भरोसा दिलाया कि रूस आतंकवाद के खिलाफ भारत के रुख का समर्थन करता है। साथ ही, उन्होंने भारत और रूस के बीच द्विपक्षीय संबंधों को और मजबूत करने की बात कही।
भारत-रूस साझेदारी को नया आयाम
दोनों देशों की संसदों के बीच सहयोग को और बढ़ाने पर भी सहमति बनी है, जिससे आने वाले समय में भारत-रूस साझेदारी को नया आयाम मिलेगा। कनिमोझी ने मॉस्को में कहा कि भारत के लोग सिर्फ अपनी सरकार की नहीं, पूरी दुनिया से यह उम्मीद करते हैं कि वह आतंकवाद के खिलाफ एक स्वर में बोले ।